माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा धारा 144 पर जारी किए गए दिशा-निर्देशों के बावजूद रतलाम शहर जैसे शांतिप्रिय जगह पर गणतंत्र दिवस जैसे राष्ट्रीय पर्व को मनाने के लिए देश भक्त नागरिकों को धारा 144 का सर्पदंश झेलना पड़ रहा है, वह अनुचित है। राष्ट्रीय पर्व पर होने वाले विभिन्न आयोजनों पर प्रशासन ने प्रतिबंध आदेश जारी रखे है। जबकि गणतंत्र दिवस पर नगर के विभिन्न संगठनों द्वारा देशभक्ति से ओत-प्रोत रैली व अन्य आयोजन वर्षों से परम्परानुसार किए जाते रहे है। प्रशासन को चाहिए कि तानाशाही प्रवृत्ति न अपनाकर आमजन को राष्ट्रीय पर्व भयमुक्त वातावरण में मनाने की सुविधा प्रदान करें।
विधायक चेतन्य काश्यप ने गणतंत्र दिवस को लेकर प्रशासन के रवैये की आलोचना करते हुए कहा कि प्रशासन राजनीतिवश धारा 144 का दुरूपयोग कर रहा है। माननीय सर्वोच्च न्यायालय ने पिछले पखवाड़े में कश्मीर जैसे संवेदनशील मामले को लेकर विस्तृत दिशा-निर्देश जारी किए है, लेकिन रतलाम में लगता है कि न्यायालय के आदेश की अवमानना हो रही है और विधिक शासन न होकर सत्ता पक्ष का शासन प्रभावशील लग रहा है। उन्होंने बताया कि रतलाम में जनवरी के पहले सप्ताह से धारा 144 के प्रतिबंधात्मक आदेश जारी है, जबकि वर्तमान वातावरण में इसकी कोई आवश्यकता नहीं है।
गणतंत्र दिवस पर परम्परागत रूप से तिरंगा वाहन रैली निकाली जाती है, लेकिन पुलिस प्रशासन द्वारा रैली के आयोजकों को अनुमति न देते हुए उल्टे धमकाया गया है, जो सर्वथा अनुचित है। तिरंगा वाहन रैली सहित नगर के विभिन्न संगठनों द्वारा होने वाले आयोजन के लिए एसडीएम की अनुमति लेना अनिवार्य करना आजाद भारत में देशभक्तों के लिए असंवैधानिक है। उन्होंने कहा कि गणतंत्र दिवस एवं इस पर होने वाले आयोजनों को गरिमापूर्ण बनाए रखने के लिए प्रतिबंध के बजाए स्वछंद व्यवस्था दी जानी चाहिए।